वरिष्ठ भाजपा नेता मथुरादत जोशी ने की पत्रकार वार्ता

हरिद्वार 29अप्रैल प्रेस क्लब हरिद्वार में एक प्रेस वार्ता आयोजित की गई जिसमें प्रेस को संबोधित करने के लिए भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व राज्य दर्जा मंत्री श्री मथुरा दत्त जोशी जी उपस्थित हुए एवं प्रेस को संबोधित करते हुए कहा कि
*आज पीएम श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत, तीव्र गति से विकसित राष्ट्र बनने की दिशा में एकजुटता से बढ़ रहा है।* 

 *वहीं अपने नकारात्मक रुख के चलते, कांग्रेस पार्टी और उनकी सहयोगी पार्टियों को अपना राजनैतिक भविष्य शून्य की तरफ खिसकता नजर आ रहा है।* 
 *यही वजह है कि वे हताशा निराशा में लगातार देश में भ्रम और झूठ फैलाने की राजनीति को आगे बढ़ा रहे हैं।* 

 *कांग्रेस पार्टी की प्रस्तावित संविधान बचाओ यात्रा भी, देश समाज को बरगलाकर, अराजक माहौल पैदा कर, जनता के आत्मविश्वास को कमजोर करने की इसी साजिश का हिस्सा है।* 

 *श्री जोशी ने कहा कि अभिव्यक्ति की आजादी, प्रत्येक पार्टी को भी अपनी बात रखने का अवसर देती है, लेकिन बेहद दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण है कि ये सब उस समय किया जा रहा है जब देश पहलगामा हमले से दुख और आक्रोश में है। वो पीएम मोदी के नेतृत्व में दुश्मनों को करारा जवाब देने की तैयारी में जुटा हुआ है। लेकिन कांग्रेस की नकारात्मक राजनीति नॉन स्टॉप जारी है।* 

 *हालांकि यहां सबसे हैरानी की बात यह भी है कि संविधान बचाने का दावा कौन कर रहा है .....वो पार्टी जिसके हाथ लोकतंत्र और संविधान के खून से रंगे हुए हैं।* 

 *देश के लोकतान्त्रिक इतिहास में सबसे काला अध्याय है यदि कोई है तो वह है आपातकाल, जिसके रचयिता कोई और नहीं कांग्रेस पार्टी है।* 

देश ने देखा, किस तरह हाईकोर्ट के निर्णय से खुद का सिंहासन हिलते देख तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने देश के लोकतंत्र को बंधक बनाकर आपातकाल थोप दिया था। संसद, न्यायपालिका, कार्यपालिका और पत्रकारिकता सभी का गला घोंटने का प्रयास किया।

 *कांग्रेस द्वारा संविधान कुचलने का दूसरा सबसे बड़ा उदाहरण है, धारा 356 का दुरुपयोग* 

इस धारा 356 को कांग्रेस खिलौने की तरह इस्तेमाल करती रही है। उसके राजनीतिक फायदे के लिए बार -बार इसका इस्तेमाल किया। देश में अब तक 124 बार इस धारा का उपयोग हुआ जिसमें अकेले कांग्रेस पार्टी और उनके सहयोग से चली सरकारों ने 102 बार चुनी हुई सरकारों के दमन में इसका दुरुपयोग किया।

 *संविधान से छेड़छाड़ कर उसे कमजोर करने का तो उसका लंबा और दागदार इतिहास रहा है।* 

आपातकाल में कांग्रेस ने संसद की अवधि भी पांच से बढ़ा कर छह साल कर दी थी और संविधान में बदलाव का ऐसा प्रस्ताव लाया गया था जिसमें इंदिरा गांधी को ताउम्र प्रधानमंत्री बनाने और न्यायपालिका को सरकार की नीतियों के साथ चलने का प्रस्ताव लाया गया था।

संविधान की मूल प्रस्तावना में छेड़छाड़ करते हुए उसमें समाजवादी, धर्मनिरपेक्ष जैसे शब्दों को जोड़ा गया।

 *संविधान के विपरीत जाकर जम्मू-कश्मीर में 370 लागू कर उसे देश से अलग दिखाने का पाप किया।* 

एक देश में दो संविधान, दो विधान और दो निशान की इसी भावना ने कश्मीर को आतंक की भट्टी में झोंके रखा।

 *हमने बहुमत का उपयोग मुस्लिम महिलाओं को तीन तलाक के श्राप और वक्फ बोर्ड की माफियागिरी से आजाद करने के लिए किया।* 

 *लेकिन कांग्रेस ने राजीव गांधी को मिले दो तिहाई बहुमत का दुरुपयोग पीड़ित बुजुर्ग महिला शाहबानों के साथ अन्याय के लिए सुप्रीम कोर्ट का फैसला बदलने में किया।* 

 *पीएम और पीएमओ को कंट्रोल करने के लिए सोनिया गांधी की अध्यक्षता में नेशनल एडवाइजरी काउंसिल बनाकर करोड़ों लोगों के जनमत का अपमान किया गया।*
 देश दुनिया ने देखा कैसे लोकतंत्र में भी रिमोट कंट्रोल से सरकार चलाई जाती है। महत्वपूर्ण उच्चस्तरीय विदेशी नेताओं और राजनयिकों के साथ बैठकों और मुलाकात में असंवैधानिक रूप में सोनिया गांधी पीएम को सुपरसीड करती थी।

 *वो राहुल गांधी संविधान बचाने की बात करते हैं जिन्होंने सार्वजनिक रूप से अपनी ही सरकार के अध्यादेश फाड़ कर संवैधानिक व्यवस्था का सरेआम अपमान किया था।* 

अनेकों राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति का सार्वजनिक अपमान इनके नेताओं द्वारा किया गया।

ये अपनी पार्टी के गांधी परिवार के लिए अलग कानून की बात कहने वाले लोग हैं। 

 *ये संविधान बचाने की बात करेंगे जिन्होंने मोदी सरकार द्वारा बाबा साहेब अंबेडकर और संविधान के सम्मान में संविधान दिवस मनाने की घोषणा का विरोध किया।*  
इतना ही नहीं बाबा साहब की 125 वीं जयंती का भी विरोध किया।


 *संवैधानिक संस्थाओं की गरिमा और निष्पक्षता पर पर सबसे अधिक गैरजिम्मेदाराना सवाल करने वाले यही लोग हैं।* 
ये चुनाव में हार का ठीकरा ईवीएम मशीन पर फोड़ते है। ईवीएम में छेड़छाड़ के आरोप लगाते हैं और जब चुनाव आयोग ने राजनीतिक दलों को साबित करने की चुनौती दी तो कोई भी वहां नहीं पहुंचता है।

 *राहुल गांधी देश विदेश में संवैधानिक संस्थाओं को बदनाम और देश की छवि खराब करने की यात्रा पर आज भी जारी हैं।*
 हाल में अमेरिकी ब्राउन यूनिवर्सिटी में चुनाव प्रक्रिया पर झूठे आरोप सबने देखें हैं।

 *दरअसल कांग्रेस का मकसद है,  न्यायपालिका और चुनाव आयोग की कार्य प्रणाली पर भ्रम और छूट फैलाकर लोगों के संवैधानिक संस्थाओं के प्रति विश्वास को कमजोर करना।* 

 *इसी तरह CAG, ED, CBI कोई शीर्ष जांच एजेंसी ऐसी नहीं रही जिस पर कांग्रेस नेताओं द्वारा झूठे आरोप नहीं लगाए गए हो।* 

 *सबसे आपत्तिजनक है कि कांग्रेस ने राजनैतिक विरोध के लिए सेना को भी नहीं बख्शा।* 

ये आर्मी चीफ बिपिन रावत को 'सड़क का गुंडा' कहते हैं, सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक पर सवाल उठाकर सेना का मनोबल तोड़ने की कोशिश करते हैं। सीमाओं पर भारतीय जवानों की बहादुरी को कमतर बताकर अपमान करते हैं।
राफेल को लेकर झूठ फैलाया जिसपर राहुल गांधी को कोर्ट में माफी मांगनी पड़ी।


 *कांग्रेस सरकारों द्वारा संवैधानिक संस्थाओं के खिलाफ किए गए कार्यों की चर्चा करें तो कुछ महत्वपूर्ण घटनाक्रम इस प्रकार से हैं।* 

1949 में कांग्रेस सरकार ने धारा 370 लागू कर जम्मू कश्मीर को देश की मुख्य धारा से अलग करने का पाप किया।

वर्ष 1954 में संविधान की मूल भावना के खिलाफ, मुस्लिम वोट बैंक को खुश करने के लिए वक्फ कानून लेकर आए। जिसमें 2013 में संशोधन कर असीमित अधिकार देने का पाप किया।

1975 में हाई कोर्ट के निर्णय के खिलाफ देश को आपातकाल की आग में झोंक दिया गया। जिसके तहत देश में लोगों के मौलिक अधिकार को खत्म कर प्रेस की आजादी पर प्रतिबंध लगाते हुए विपक्ष के नेताओं को जेल में डाला गया।

आपातकाल के दौरान कांग्रेस सरकारों ने ऐसे ऐसे संशोधन किया जो आज लागू होते तो लोकतंत्र का कोई मायने नहीं रहता। जैसे सांसद के कार्यकाल को 5 वर्ष से बढ़कर 6 वर्ष करना इंदिरा गांधी को आजीवन प्रधानमंत्री बनाए रखना न्यायिक समीक्षा का अधिकार बंद करना

वर्ष 1977 में तो 42 वें संशोधन से कांग्रेस सरकार ने संविधान की मूल संरचना को ही बदल दिया था, संविधान की प्रस्तावना में समाजवाद और धर्मनिरपेक्ष शब्द को जोड़कर।

राजीव गांधी सरकार के कार्यकाल की बात करें तो 1985 में एक मुस्लिम बुजुर्ग देवा महिला को उसका अधिकार ना मिले उसके लिए, कांग्रेस पार्टी ने अपने प्रचंड बहुमत का दुरुपयोग किया और सुप्रीम कोर्ट के फैसले को ही संविधान संशोधन से पलट दिया।

1988 में प्रेस की स्वतंत्रता पर अंकुश लगाने के लिए मानहानि विरोधी कानून पेश किया गया वह बात और है कि विरोध के चलते इसे वापस ले लिया गया।

अब मनमोहन सरकार के कार्यकाल का जिक्र करें तो वक्त संशोधन 2013 से इन्होंने वक्फ बोर्ड को पूरी तरह भू माफिया बोर्ड में बदलने का कार्य किया।

प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को नियंत्रित करने के लिए सलाहकार समिति बनाई गई और सुपर पीएम के रूप में सोनिया गांधी को उसे पर काबिज किया गया जो भारतीय लोकतंत्र को अपमानित करने का निर्णय था।

संविधान और संवैधानिक पदों संस्थाओं के अपमान का तो कांग्रेस पार्टी का लंबा इतिहास रहा है जिसके तहत इन्होंने शीर्ष पद पर बैठे राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति को भी नहीं बख्शा।

1951 में तत्कालीन राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद को सोमनाथ मंदिर के उद्घाटन में जाने से रोका गया, एपीजे अब्दुल कलाम को 2006 में विदेश दौरे से वापस बुलाकर अध्यादेश पर हस्ताक्षर कराया, वर्तमान राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मू को तत्कालीन नेता विपक्ष अधीरंजन चौधरी ने अपमानजनक भाषा का प्रयोग किया।
प्रेस वार्ता में मुख्य रूप से पूर्व जिला अध्यक्ष संदीप गोयल जी, महामंत्री आशु चौधरी, जिला उपाध्यक्ष लव शर्मा एवं जिला मीडिया प्रभारी नितिन चौहान, युवा नेता सूर्यकांत सैनी उपस्थित रहे।

पीरामल फाउंडेशन ने किया बाल सभा का आयोजन

पूरणपुर साल्हापुर/ हरिद्वार 29 अप्रैल राजकीय प्राथमिक विद्यालय पूरणपुर साल्हापुर में मंगलवार को पिरामल फाउंडेशन के सहयोग से एक प्रभावशाली बाल सभा का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्देश्य बच्चों के नेतृत्व, अभिव्यक्ति और अधिकारों को बढ़ावा देना तथा बाल हितैषी ग्राम पंचायत की अवधारणा को मजबूत बनाना रहा। यह आयोजन स्थानीय सतत विकास लक्ष्यों (LSDG) के अंतर्गत संपन्न हुआ।

सभा में बच्चों ने विद्यालय की चारदीवारी, बाल सभा के वार्षिक आयोजन तथा भोजन/प्रार्थना के लिए टीन शेड, वाटर कूलर सुझाव साझा किए। साथ ही स्वच्छता, शिक्षा और विद्यालय सुरक्षा जैसे मुद्दों पर भी अपने विचार खुलकर रखे। बच्चों की सक्रिय भागीदारी ने सभा को जीवंत और प्रेरणादायक बना दिया।

इस अवसर पर ग्राम प्रधान श्री मांगेराम ने बच्चों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा, "बच्चों की आवाज़ को पंचायत में स्थान मिलना ही असली लोकतंत्र है। ऐसे आयोजनों को आगे भी प्रोत्साहित किया जाएगा।"
विद्यालय के शिक्षक श्री अशोक कुमार ने कहा, "बाल सभा बच्चों में आत्मविश्वास, संवाद कौशल और नेतृत्व क्षमता को विकसित करती है। हम विद्यालय स्तर पर बच्चों की बातों को प्राथमिकता देंगे।"

इस अवसर पर रैली एवं शपथ का आयोजन भी किया गया। पिरामल फाउंडेशन से उपस्थित सुश्री नताशा ने कहा, "बच्चों की भागीदारी पंचायत को अधिक समावेशी बनाती है। बाल सभा बदलाव की दिशा में मजबूत कदम है।"
गांधी फेलो अनिवेश कुमार ने बच्चों को बाल सरपंच और पंचायत संरचना की जानकारी दी और बच्चों को अपनी बात निडरता से रखने के लिए प्रेरित किया।
सभा में छात्रा पायल (कक्षा 5) ने बाल सरपंच की भूमिका निभाई और विद्यालय की सुरक्षा, चारदीवारी और खेल सामग्री से जुड़ी जरूरतें रखीं। छात्र राहुल (कक्षा 4) ने नियमित प्राथमिक सभा की माँग रखी। कार्यक्रम में ग्राम प्रधान,स्थानीय समुदाय के सदस्य, अभिभावक, शिक्षक, विद्यार्थी भी मौजूद रहे।

बाल सभा ने बच्चों में आत्मविश्वास, नेतृत्व और जिम्मेदारी की भावना को बढ़ावा दिया। आयोजकों ने इसे बाल हितैषी पंचायत की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल बताया।

तीर्थ नगरी हरिद्वार में मनाई जाएगी जगतगुरु आद्य शंकराचार्य जी की 1237 वी जयंती

 हरिद्वार 29 अप्रैल जगद्गुरु आद्य शंकराचार्य स्मारक समिति के तत्वाधान में 2 मई वैशाख शुक्ल पंचमी को जगदगुरु आद्य शंकराचार्य जी की 1237 वी जयंती श्रद्धा भाव के साथ बनाई जाएगी उपरोक्त जानकारी जगद्गुरु  आद्य शंकराचार्य स्मारक  समिति के महामंत्री श्रीमहंत देवानंद सरस्वती महाराज ने प्रदान करते हुए बताया कि आगामी 2 मई को जूना पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर श्री स्वामी अवधेशानंद गिरि जी महाराज एवं महामंडलेश्वर श्री स्वामी विश्वेश्वरानंद गिरी जी महाराज के सानिध्य में जगतगुरु आद्य  शंकराचार्य जी की 1237 की जयंती महोत्सव श्रद्धा भाव के साथ मनाया जाएगी उन्होंने बताया कि 2 मई को शंकराचार्य चौक पर पूजन एवं अभिषेक प्रातः 8:00 बजे तथा हर की पौड़ी पर चारों शिष्यों सहित जगतगुरु आद्य शंकराचार्य जी का पूजन अभिषेक जूना अखाड़ा के महामंत्री श्री महंत केदार पुरी जी महाराज के द्वारा किया जाएगा इसके पश्चात प्रातः 10:00 बजे हरिहर आश्रम निकट बंगाली मोड कनखल हरिद्वार में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन महामंडलेश्वर श्री स्वामी विज्ञानानंद सरस्वती जी महाराज की अध्यक्षता में होगा जिसमें षडदर्शन साधु समाज के द्वारा जगतगुरु आद्य शंकराचार्य जी महाराज को श्रद्धा सुमन अर्पित किए जाएंगे।

आरएसएस कार्यकर्ताओं ने हरिद्वार में पहलगाम के मृतकों को दी श्रद्धांजलि

*आरएसएस ने दी पहलगाम आतंकी हमले के मृतकों को श्रद्धाजंलि* 
हरिद्वार 26 अप्रैल पहलगाम आतंकवादी हमले पर शोक व्यक्त करते हुए, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, हरिद्वार नगर के कार्यकर्ताओं ने मृतकों की आत्मा की शांति के लिए मौन रखा और श्रद्धांजलि दी। इस हमले में कई निर्दोष लोगों की जान गई, जिसने पूरे देश को हिला कर रख दिया।
आरएसएस के कार्यकर्ताओं ने इस हमले की कड़ी निंदा की और मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की। उन्होंने मौन व्रत रखकर और श्रद्धांजलि देकर मृतकों की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की।
इस अवसर पर आरएसएस जिला सञ्चालक डॉ. यतीन्द्र नाग्यान ने कहा कि आतंकवाद एक गंभीर समस्या है जिसका सामना हम सभी को मिलकर करना होगा। उन्होंने कहा कि हमें आतंकवाद के खिलाफ लड़ने के लिए एकजुट होना होगा और निर्दोष लोगों की जान बचाने के लिए काम करना होगा।
आरएसएस विभाग सम्पर्क प्रमुख रोहिताश कुँवर ने कहा कि हमें अपने देश की एकता और अखंडता को बनाए रखने के लिए काम करना होगा और आतंकवाद के खिलाफ लड़ने के लिए सरकार की मदद करनी होगी। उन्होंने कहा कि हमें अपने देश के लिए एकजुट होना होगा और आतंकवाद के खिलाफ लड़ने के लिए अपनी पूरी ताकत लगानी होगी।
आरएसएस के कार्यकर्ताओं ने पहलगाम आतंकवादी हमले पर शोक व्यक्त करते हुए मृतकों की आत्मा की शांति के लिए मौन व्रत रखा और श्रद्धांजलि दी। उन्होंने आतंकवाद के खिलाफ लड़ने के लिए एकजुट होने और निर्दोष लोगों की जान बचाने के लिए काम करने का संकल्प लिया। श्रद्धाजंलि देने वालो में नगर कार्यवाह डॉ. अनुराग वत्स, सह कार्यवाह बलदेव रावत, नगर प्रचारक त्रिवेंद्रजी,व्यवस्था प्रमुख देशराज शर्मा,संजय, सह बौद्धिक प्रमुख रतनलाल,भगवान चौरसिया,उमेश मिश्रा,सुशील सैनी,उज्जवल, मनोज,अमित आदि मुख्य थे।

8 मई को हर की पौड़ी पहुंचेगी बाबा विश्वनाथ मां जगदीशीला डोली यात्रा

8 मई को हर की पौड़ी से होगा बाबा विश्वनाथ मां जगदीशीला डोली यात्रा का शुभारंभ :-मंत्री प्रसाद नैथानी 
आध्यात्मिक विभूति भोले जी महाराज ,मंगला माता एवं भारत माता मंदिर के श्रीमहंत महामंडलेश्वर स्वामी ललिता नंद गिरी जी महाराज के सानिध्य में हर की पौड़ी पर पूजा अर्चना के पश्चात संपूर्ण उत्तराखंड के लिए रवाना होगी डोली यात्रा

हरिद्वार 26 अप्रैल आगामी 8 मई को हर की पौड़ी पर पूजा अर्चना के पश्चात प्रतिवर्ष आयोजित की जाने वाली बाबा विश्वनाथ मां जगदीशीला डोली यात्रा संपूर्ण उत्तराखंड के लिए रवाना होगी उपरोक्त जानकारी इस यात्रा के संयोजक उत्तराखंड सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे मंत्री प्रसाद नैथानी ने प्रदान की उन्होंने बताया कि टिहरी गढ़वाल जिले में विशौन पर्वत स्थित बाबा विश्वनाथ मां जगदीशीला तीर्थ धाम से डोली यात्रा प्रतिवर्ष की भांति इस वर्ष भी 8 मई को हरिद्वार पहुंचेगी जहां पर हंस फाउंडेशन के संस्थापक अध्यक्ष आध्यात्मिक विभूति भोले जी महाराज मंगला माता एवं भारत माता मंदिर के श्रीमहंत महामंडलेश्वर स्वामी ललिता नंद गिरी जी महाराज के सानिध्य में गंगा स्नान पूजा अर्चना के पश्चात एक माह के भ्रमण के लिए डोली यात्रा को रवाना किया जाएगा, उन्होंने बताया कि इस वर्ष यह 26 वीं डोली यात्रा है जो कुमाऊँ मंडल और गढ़वाल मंडल का भ्रमण कर ज्येष्ठ माह के दशहरे पर  बाबा विश्वनाथ जगदी शीला धाम पर जाकर समाप्त होगी इसके लिए सभी तैयारी को अंतिम रूप दिया जा रहा है हरिद्वार में इस डोली यात्रा के सूत्रधार भारत माता मंदिर के श्री महंत एवं निरंजनी अखाड़े के महामंडलेश्वर स्वामी ललित नंद गिरी जी महाराज ,समाजसेवी आमेश शर्मा ,संजय वर्मा आदि सहयोगी साथी रहेंगे जो प्रतिवर्ष समस्त व्यवस्थाओं को सुचारू रूप से संचालित करते हैं।

कनाडा निवासी आचार्य अजय कुमार त्यागी एवं श्रीमती शुभा त्यागी का बी डी इंटर कॉलेज भगवान पुर में हुआ स्वागत



कनाडा से पधारे आचार्य अजय कुमार त्यागी एवं श्रीमती शुभा त्यागी ने बी.डी.इण्टर कॉलेज भगवानपुर के विद्यार्थियों को किया प्रेरित

भगवानपुर 24 अप्रैल आचार्य अजय कुमार त्यागी एवं श्रीमती शुभा त्यागी जो कि लगभग 24 वर्षों से कनाडा में प्रवास कर रहे हैं, मूल से भारतीय हैं, भगवानपुर के बी.डी.इण्टर कॉलेज भगवानपुर में सपत्नीक पधारे। विद्यालय के प्रधानाचार्य एवं वरिष्ठ अध्यापक श्री संजय पाल जी ने दोनों अतिथियों का परिचय कराते हुए विद्यालय परिवार की ओर से स्वागत एवं सम्मान प्रदान किया। आचार्य श्री ने प्रार्थना सभा में विद्यार्थियों से अपने अनुभवों को साझा किया। छात्र-छात्राओं को साहित्य, संगीत, कला एवं शिक्षा के प्रति जागरूक किया। बताया कि अपने छात्र जीवन के कर्त्तव्यों का पालन अच्छे से करने से सभी उपलब्धियाँ आपको प्राप्त होंगी। एक भजन ‘इतनी शक्ति हमें देना दाता, मन का विश्वास कमजोर होना’ के माध्यम से विद्यार्थियों लाभान्वित करने का सफल प्रयास किया।

उन्होंने कहा कि बी.डी. इण्टर कॉलेज भगवानपुर की ख्याति यहाँ के प्रधानाचार्य, शिक्षक, शिक्षकेतर वर्ग एवं विद्यार्थियों के अहर्निश उत्कृष्ट कार्यों से चारों दिशाओं में फैल रही है। पत्र-पत्रिकाओं के माध्यम से समाचार-पत्रों के माध्यम से अनेक स्थानों पर इस विद्यालय की ख्याति से देश-विदेश भी परिचित है। आचार्यश्री ने शिक्षकों के द्वारा किये गये नवाचारों को देखा और सराहना की।

विद्यालय में स्थित नक्षत्र विज्ञान वाटिका का निरीक्षण करते हुए, माँ गङ्गा की प्रतिमा को अभिवादन करके, राशी के अनुसार अर्जुन के पौधे का जलाभिषेक किया, जिससे राशी सम्बन्धित दोष दूर होते हैं तथा सकारात्मक लाभ प्राप्त होते हैं। विद्यालय में स्थित शौर्य दीवार को देखा जिसमें आजादी के दीवाने क्रान्तिकारी देशभक्तों के चित्र एवं लिखित सामग्री से प्रेरित होकर विदेशों में भी उसका प्रचार-प्रसार करने का संकल्प लिया।

आचार्य अजय कुमार त्यागी की प्रतिभा से प्रभावित होकर, डॉ. विजय कुमार त्यागी के निर्देशन में संस्कृत विषय के छात्र-छात्राओं ने भारतीय संस्कृति, साहित्य एवं संस्कारों से सम्बन्धित अनेक विषयों को पद्य विधा में प्रस्तुत किया। छात्र-छात्राओं की लगातार 15 मिनट की अविराम प्रस्तुति को सुनकर आचार्य अजय त्यागी एवं श्रीमती शुभा त्यागी ने भूरी भूरी प्रशंसा की।

इस अवसर पर श्री संजय गर्ग, संजय पाल, पारुल देवी, ललिता देवी, अनुदीप, रजत बहुखण्डी, निखिल अग्रवाल, नेत्रपाल, संगीता गुप्ता, कल्पना सैनी, अर्चना पाल, तन्नू, सय्यद अली, वसीम, लोकेश आदि उपस्थित रहे।

जमालपुर कला राजकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के प्रधानाचार्य के खिलाफ होगी कार्रवाई, सत्य पाए गए आरोप

प्रवेशोत्सव के दिन प्रधानाचार्य के निर्देश पर बंद किया था स्कूल गेट

- खंड शिक्षा अधिकारी की जांच में सत्य पाए गए आरोप, सीईओ को भेजी रिपोर्ट
- जमालपुर के राजकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय जमालपुर कलां का मामला

हरिद्वार 23अप्रैल प्रवेशोत्सव के दिन राजकीय उच्चत्तर माध्यामिक विद्यालय जमालपुर कलां के गेट प्रधानाचार्य प्रमोद कुमार बर्थवाल के निर्देश पर बंद किए गए थे। ये आरोप खंड शिक्षा अधिकारी की जांच रिपोर्ट में सही पाए गए हैं। उन्होंने रिपोर्ट कार्रवाई के लिए मुख्य शिक्षा अधिकारी को भेज दी है। जिससे अब प्रधानाचार्य पर प्रकरण में कार्रवाई भी सकती है।
21 अप्रैल को प्रदेशभर में प्रवेशोत्सव मनाया गया था, उस दिन सरकारी स्कूलों में बच्चों के नए प्रवेश भी लिए गए थे, लेकिन, राजकीय उच्चत्तर माध्यामिक विद्यालय जमालपुर कलां के गेट ही अभिभावकों के लिए नहीं खोले गए थे। जिससे अपने बच्चों के सरकारी स्कूल में प्रवेश के लिए पहुंचने वाले अभिभावक धूप में स्कूल के गेट के ही बाहर खड़े रहे थे। स्कूल में प्रवेश नहीं होने से बच्चे और अभिभावक इंतजार करने के बाद बैरंग लौट गए थे। इसे गंभीरता से लेते हुए मुख्य शिक्षा अधिकारी की ओर से खंड शिक्षा अधिकारी को जांच अधिकारी बृजपाल सिंह राठौकर को नामित किया था। जिससे उन्होंने स्कूल में पहुंचकर जांच पड़ताल की।
प्रधाधानाचार्य, एसएमसी अध्यक्ष, शिक्षक, शिक्षिका व छात्र-छात्राओं से पूछताछ की गई। जांच में पाया गया कि 21 अप्रैल को प्रवेशोत्सव के दिन विद्यालय में प्रवेश उत्सव के दौरान स्कूल के मुख्य द्वार पर परिचारक की डयूटी लगाई गई थी। परिचारक को प्रधानाचार्य प्रमोद कुमार बर्थवाल की ओर से निर्देशित किया गया था कि विद्यालय में छात्र प्रवेश के लिए सीट रिक्त नहीं है कि सूचना से अभिभावकों को अवगत करा दें। येे सूचना परिचारक की ओर से बंद गेट पर ही अभिभावकों को दी जा रही थी, परंतु, फिर भी अभिभावकों की ओर से अपने बच्चों को प्रवेश के लिए स्कूल के गेट पर कुछ समय व्यतीत किया गया, क्योंकि, प्रधानाचार्य के निर्देश पर स्कूल का गेट ही नहीं खोला गया था। इससे स्कूल में अभिभावक अपने बच्चों के प्रवेश नहीं करा सके।
खंड शिक्षा अधिकारी की ओर से जांच कर रिपोर्ट मुख्य शिक्षा अधिकारी केके गुप्ता को भेज दी गई है, जिससे अब मामले में मुख्य शिक्षा अधिकारी की ओर से ही प्रधानाचार्य प्रमोद कुमार बर्थवाल के खिलाफ रिपोर्ट पर निर्णय लिया जाएगा।
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