यातायात के नियमों का पालन करें और सुरक्षित रहे:- ललित मिगलानी

आज कल हम सड़क दुर्घटना के बारे में रोज सुन रहे है और पढ़ रहे है सड़क दुर्घटना में अक्सर युवा अपनी जान गवा रहे है देहरादून की घटना के सभी को जिन्झोड़े कर रख दिया जिसमे ६ युवाओ ने जान गवा दी घटना के बाद से हर कोई प्रयास कर रहा है की लोगो में जागरूकता लाई जाय पुलिस हो या आर टी ओ अपनी तरफ से हर संभव प्रयास किये जा रहे है की युवाओ में ट्राफिक लॉ के बारे में जागरूक किया जायेI ये जिमेदारी हम पुलिस प्रशासन पर ही नहीं छोड़ सकते क्योंकि बच्चे सबके समान होते है इसमें आपकी और हमारी भी जिमेदारी बनती है की हम सब भी अपने स्तर से प्रयास करे ताकि भविष्य में ऐसी दुर्घटना न हो पाए इसी कड़ी में हम आज हाई कोर्ट के अधिवक्ता ललित मिगलानी से ट्राफिक लॉ के बारे में जानकारी लेते है आपको बता दे अधिवक्ता ललित मिगलानी भारतीय जागरूकता समिति के अध्यक्ष है और समय समय पर समाज के हर वर्ग में जा कर ट्राफिक लॉ, नशे, साइबर लॉ, आदि के बारे में समाज को जागरूक करते है I 
मिगलानी से जानते है की ट्राफिक लॉ के बारे में वो कौन कौन से महत्वपूर्ण नियम है जो सभी को पालन करने चाहिये 
मिगलानी ने बताया की 7 अहम ट्रैफ़िक नियम जिनका भारत में पालन किया जाना चाहिए
नीचे कुछ सबसे आम ट्रैफ़िक कानूनों के बारे में बताया गया है जिनके बारे में देश के हर चालक को पता होना चाहिए। ये कुछ ऐसे नियम भी हैं जिन्हें सबसे ज़्यादा बार तोड़ा जाता है।
1. शराब पीकर गाड़ी न चलाएं
एक आंकड़े से पता चला है कि नशे में ड्राइव करने के कारण होने वाली सड़क दुर्घटनाओं में रोजाना लगभग 19 भारतीय मारे जाते हैं (स्रोत)
मौजूदा कानून के अनुसार, जब तक आपके खून में अल्कोहल की सीमा 0.03% तक है, तभी तक आप वाहन चला सकते हैं। इसका मतलब है कि 100 मिलीलीटर खून में मात्र  30 मिलीग्राम अल्कोहल हो सकता है।
यदि कोई व्यक्ति इस बीएसी परीक्षा को पास करने में नाकाम रहता है, तो उसके खून में पाई गई शराब की मात्रा के हिसाब से 2000 रुपये से लेकर 10,000 रुपये के बीच जुर्माना लगाया जा सकता है।
इसके अलावा, ऐसे व्यक्तियों को 7 महीने से लेकर चार साल तक की जेल की सजा भी सुनाई जा सकती है।
2. हमेशा वैध कार इंश्योरेंस पॉलिसी खरीदें
मोटर वाहन अधिनियम 1988 के अनुसार, भारत में सभी मोटर वाहनों के पास हमेशा वैध थर्ड-पार्टी इंश्योरेंस कवरेज होना ज़रूरी है।
यदि आप ध्यान नहीं देते हैं और इंश्योरेंस पॉलिसी की वैधता खत्म हो जाती है, तो आपको ऐसी सुरक्षा योजना के बिना वाहन चलाने के लिए दंडित किया जा सकता है।
इस तरह का अपराध पहली बार करने पर ट्रैफ़िक अधिकारी 2000 रुपये का जुर्माना लेते हैं। हालांकि, बार-बार यही अपराध करने पर 4000 रुपये तक का जुर्माना लग सकता है।
3. कार चलाते समय अपनी सीट बेल्ट पहनें
यदि आप ड्राइविंग के लिए नए हैं, तो अपने वाहन में बैठते ही पहली चीज के रूप में सीट बेल्ट पहनने की आदत डालें। ऐसा करने से न केवल आपको ट्रैफ़िक नियमों के उल्लंघन से बचने में मदद मिलेगी, बल्कि दुर्घटनाओं होने पर आपकी जान भी बचेगी।
यदि आप अपनी कमर और छाती पर बिना सीट बेल्ट बांधे ड्राइविंग करते हुए पकड़े जाते हैं, तो ट्रैफ़िक पुलिस मौके पर ही इस उल्लंघन के लिए 1000 रुपये तक का जुर्माना लगा सकती है।
तो, एक हीरो बनिए और अपनी सीट बेल्ट लगाइए!
4. बिना हेलमेट के टू-व्हीलर वाहन चलाना
टू-व्हीलर वाहन चलाते समय हेलमेट पहनना चाहिए। यहां ध्यान देने वाली एक बात यह है कि कानून में कहा गया है कि टू-व्हीलर वाहन पर सभी व्यक्तियों को हेलमेट लगाना चाहिए, न कि केवल चालक को।
इस नियम का पालन न करने पर 1000 रुपये तक का जुर्माना लगता है।
गंभीर मामलों में, ट्रैफ़िक अधिकारी आपके लाइसेंस को 3 महीने तक की अवधि के लिए रद्द करने का निर्णय ले सकते हैं।
5. सवारी करते समय मोबाइल फोन का इस्तेमाल करना
१ अक्तूबर 2020 से लागु हुए नय मोटर वाहन नियम के अनुसार, वाहन चलते समय ड्राइवर केवल अपने फोन को नेविगेशनल टूल के रूप में इस्तेमाल कर सकते हैं।
यदि आप वाहन चलाते समय किसी अन्य प्रकार से फोन का इस्तेमाल करते हुए पकड़े गए हैं, तो 5000 रुपये तक का जुर्माना देने के लिए तैयार हो जाएं। ऐसे ट्रैफ़िक उल्लंघनकर्ताओं पर एक साल की जेल की सजा भी लागू होती है।
जब तक ड्राइव कर रहे हैं अपने फोन को बंद रखें और सड़क पर ध्यान दें!
6. तय गति सीमा से तेज चलाना
ड्राइवर को कभी भी सड़क पर सुझाई गई गति की गाइडलाइन से अधिक तेज वाहन नहीं चलाना चाहिए, क्योंकि ऐसा करने से ट्रैफ़िक पुलिस का गुस्सा फूटेगा।
एक रिपोर्ट के अनुसार, 2018 में 66% दुर्घटनाएं भारतीय सड़कों पर तेज गति के कारण हुईं। (स्रोत)
तेज गति के लिए लगाया जाने वाला जुर्माना आपके वाहन के साइज़ के अनुसार अलग होता है, आमतौर पर 1000 रुपये और 2000 रुपये के बीच होता है।  
7. लाल बत्ती पार करना
यदि आप 5000 रुपये तक का दंड और एक साल की जेल की सजा वहन करने का इरादा नहीं रखते हैं, तो सुनिश्चित करें कि आप ड्राइव करने के दौरान अलग-अलग ट्रैफ़िक सिग्नलों का पालन करें, भले ही आप जल्दी में हों। पुरानी कहावत याद रखें, 'दुर्घटना से देर भली।’
8. "नो एंट्री" ज़ोन के नियमों का पालन
एक "नो एंट्री" ज़ोन आमतौर पर एक विशिष्ट सिग्नल के साथ चिह्नित होता है, जिसे आप ड्राइविंग करते समय आसानी से देख सकते हैं। ये आमतौर पर वन-वे ट्रैफ़िक मूवमेंट के लिए बनाए जाते हैं। ऐसे क्षेत्रों में प्रवेश करने से बचें, क्योंकि आप अन्य कारों से टकरा सकते हैं और दुर्घटनाएं कर सकते हैं।
ये ड्राइवर के लिए कुछ सबसे बुनियादी ट्रैफ़िक कानून हैं। ड्राइवर के साथ-साथ एक व्यक्ति के रूप में, आपको कई अन्य लोगों का भी ध्यान रखना होगा।
सुरक्षित ड्राइव करें और सभी कानूनों का पालन करें!

जूना अखाड़ा भूतनाथ महादेव मंदिर विवाद पर करेगा जांच

हरिद्वार 30 नवम्बर श्री पंच दश नाम जूना अखाड़े के जूनागढ़ स्थित  भूतनाथ महादेव मंदिर पर अपनी व्यक्तिगत संपत्ति होने का दावा करने तथा जूना अखाड़े के अंतरराष्ट्रीय संरक्षक श्री महंत हरी गिरी महाराज पर अनर्गल आरोप लगाए जाने से जूना अखाड़ा सहित पूरे संत समाज में अत्यंत रोष व्याप्त है। इस प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर अवधेशानंद गिरि जी महाराज ने एक 11 सदस्य जांच समिति का गठन कर दिया है जो कि इन सभी आरोपी की गंभीरता से जांच पड़ताल कर 7 दिन में अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी जिसके आधार पर आगामी कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। इस कमेटी के संरक्षक श्री महंत आचार्य महामंडलेश्वर अवधेशानंद गिरि जी महाराज होंगे तथा यह समिति श्री महंत मोहन भारती महाराज की अध्यक्षता में जांच करेगी। जांच कमेटी में महामंडलेश्वर कपिल पुरी महाराज, महामंडलेश्वर महेश्वर आनंद गिरि महाराज ,श्री महंत गणपत गिरी, श्री महंत केदारपुरी, श्री महंत सिद्धेश्वर यती ,श्री महंत आनंद गिरि ,श्री महंत निरंजन भारती, श्री महंत शिवानंद सरस्वती तथा अंतरराष्ट्रीय प्रवक्ता श्री महंत नारायण गिरी महाराज को सदस्य नियुक्त किया गया है ।
जूना अखाड़े के अंतरराष्ट्रीय प्रवक्ता श्रीमहंत नारायण गिरी महाराज ने बताया महेश गिरी को श्री महंत अमृत गिरी महाराज ने जूनागढ़ स्थित कमंडल कुंड की देख-देख की जिम्मेदारी सौंपी थी लेकिन वह संन्यास धर्म छोड़कर गृहस्थ बन गए और बाद में  दिल्ली से चुनाव लड़कर सांसद बन गए लेकिन अब उन्होंने भूतनाथ मंदिर जूनागढ़ तथा अन्य संपत्तियों पर कब्जा करने के नियत से फिर से संन्यास ग्रहण कर लिया ।उन्होंने न केवल कब्जे की नीयत से भूतनाथ महादेव मंदिर पर अपना दावा ठोक दिया बल्कि खुद को महंत घोषित कर अपना उत्तराधिकारी भी घोषित कर दिया। महेश गिरी ने इस दावे के साथ-साथ अखाड़े के  संरक्षक श्री महंत हरि गिरि महाराज  तथा गुजरात सरकार पर भी गंभीर आरोप लगाए। उनकी इस हरकत के बाद गुजरात सरकार ने कमंडल कुंड चरण पादुका, अंबाजी मंदिर का अधिग्रहण कर लिया ।
श्री महंत नारायण गिरी ने बताया भूतनाथ महादेव मंदिर ,कमल कुंड चरण पादुका, अंबाजी मंदिर, भावनाथ मंदिर मुचुकुंड मंदिर, दूधेश्वर नाथ महादेव मंदिर यह सभी जूना अखाड़े की परंपरा के मंदिर है ।इन मंदिरों के अतिरिक्त देश, विदेश जहां भी जूना खड़े के मठ मंदिर है उन सभी का स्वामित्व भगवान दत्तात्रेय में निहित है ।इन मंदिरों के महामंडलेश्वर, श्रीमहंत केवल उनकी देख रेख व रखरखाव के लिए अखाड़े की परंपरा के अनुसार नियुक्त किए जाते हैं ।कोई भी साधु संत इसको अपनी निजी संपत्ति बतला कर कब्जा नहीं कर सकता है। उन्होंने कहा महेश गिरी द्वारा भूतनाथ महादेव मंदिर को अपनी निजी संपत्ति बताना तथा संरक्षक श्रीमहंत हरि गिरि महाराज पर अनर्गल  आरोप लगाने के पीछे निश्चित ही कोई बहुत बड़ा षड्यंत्र है ।जूना अखाड़े की जांच कमेटी इस सब की गंभीरता से जांच कर इसका पर्दाफाश करेगी तथा इसके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी ताकि अखाड़े की गौरवमई प्राचीन वैभवशाली परंपरा कायम रह सके। उन्होंने कहा श्रीमहंत हरि गिरि महाराज की ईमानदारी व उनकी अखाड़े के प्रति निष्ठा पर कोई संदेह नहीं किया जा सकता ।इस प्रकार के अनर्गल आरोपों से पूरे संत समाज व अखाड़ों में अत्यंत रोष है।

बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचारों को लेकर विश्व हिंदू परिषद ने किया प्रदर्शन

बांग्लादेश में इस्कॉन मंदिर के मुख्य पुजारी चिन्मय कृष्ण दास की रिहाई व हिंदु समुदाय के उत्पीड़न के विरोध में विहिप ने किया प्रदर्शन

बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचारों के विरोध में आगे आए विश्व समुदाय-बलराम कपूर

हरिद्वार, 30 नवम्बर। बांग्लादेश में इस्कॉन मंदिर के मुख्य पुजारी चिन्मय कृष्ण दास की अविलंब रिहाई और वहां हिंदुओं पर लगातार हो रहे अत्याचार व उत्पीड़न पर रोक लगाने की मांग को लेकर विश्व हिंदू परिषद कार्यकताओं ने जिला अध्यक्ष बलराम कपूर के नेतृत्व में चंद्राचार्च चौक पर प्रदर्शन किया। इस दौरान विहिप जिला अध्यक्ष बलराम कपूर ने बांग्लादेश में हिंदु समुदाय पर अत्याचारों के विरोध में विश्व समुदाय से आगे आने की अपील करते हुए कहा कि इ्रस्कॉन मंदिर के मुख्य पुजारी की गिरफ्तारी बांग्लादेश सरकार और वहां के प्रशासन की अलोकतांत्रिक और कायरतापूर्ण कार्रवाई है। उन्होंने कहा कि विश्व हिंदू परिषद इस कार्रवाई का पुरजोर विरोध करती है। बांग्लादेश के हिंदु समुदाय और इस्कॉन अपने उत्पीड़न के विरोध में लोकतांत्रिक तरीके से प्रदर्शन कर रहे हैं। किसी भी प्रकार की हिंसा का उन्होंने प्रतिहिंसा के रूप में अभी तक कोई उत्तर नहीं दिया है। शांतिप्रिय और लोकतांत्रिक रूप से अपनी बात रखने वाले समुदाय और संगठन का नेतृत्व कर रहे लोगों को अलोकतांत्रिक तरीके से गिरफ्तार उनकी आवाज का दबाने का प्रयास किया जा रहा है। बांग्लादेश के हिंदु समुदाय के साथ हो रहे अमानवीय अत्याचारों और उनके लोकतांत्रिक अधिकारों के हनन के विरोध में विश्व समुदाय को आगे आना चाहिए।
स्वामी सोमनाथ दास महाराज ने कहा कि बांग्लादेश में वामपंथी इस्लामिक तत्वों के साथ मिलकर वहां के हिंदू समाज का दमन कर रहे हैं। विश्व समुदाय और तमाम वैश्विक संगठनों को आगे आकर इस पर रोक लगाने के लिए प्रभावी कदम उठाने चाहिए। लेकिन दुर्भाग्य से अब तक ऐसा नहीं हुआ है। विश्व हिंदू परिषद पूरे विश्व समुदाय से यह अपेक्षा करती है कि बांग्लादेश के घटनाक्रम को गंभीरता लेते हुए बांग्लादेश सरकार और वहां के प्रशासन पर हिंदुओं के मानवाधिकारों की रक्षा उनकी सुरक्षा के लिए दबाव बनाए।
जिला मंत्री जीवेंद्र तोमर ने कहा कि भारत सरकार का प्रति-उत्तर इस विषय में बहुत ही सावधानी पूर्वक और न्यूनतम रहा है। यह सही है कि एक संप्रभु देश की स्वायत्तता को किसी भी प्रकार से चुनौती देना दूसरे देश की सरकार के लिए ठीक नहीं है। परंतु, एक बड़े हिंदू समुदाय का इस प्रकार का उत्पीड़न पूरा विश्व, सारे पड़ोसी देश, भारत सरकार सिर्फ देखते रहे और कुछ भी कार्यवाही नहीं करें। यह भी एक सीमा तक तो स्वीकार्य है लेकिन लंबे समय तक यह भी स्वीकार नहीं किया जा सकता। विश्व हिंदू परिषद का मानना है कि बांग्लादेश में हिंदुओं के मानवाधिकारों के हनन और अत्याचारों के विरोध में पूरे विश्व समुदाय को आगे आकर आवाज उठानी चाहिए। जीवेंद्र तोमर ने कहा कि इस्कॉन मंदिर के मुख्य पुजारी चिन्मय कृष्ण दास प्रभु को तुरंत रिहा किया जाए और बांग्लादेश के हिंदू नेताओं, पुजारिओं, धार्मिक गुरुओं को बिना किसी कारण गिरफ्तार ना किया जाए।  
धरना प्रदर्शन करने वालों में में स्वामी सोमनाथ दास महाराज, जिला मंत्री जीवेंद्र तोमर, जिला सहमंत्री विश्व हिन्दू परिषद दीपक तालियान, जिला संयोजक बजरंग दल हरिद्वार अमित मुल्तानिया, जिला सह संयोजक हिमांशु सैनी, जयकरण उपाध्याय, कमल उलियान, गगन उपाध्याय, अरुण कुमार, हर्षित शर्मा, अरविंद कटारिया, बादल चौधरी, साजन वाल्मीकि, ऋतिक मित्तल, रविभूषण जोशी, सचिन चौधरी सहित दर्जनों कार्यकर्ता शामिल रहे। 

रविवार को सैनी आश्रम ज्वालापुर में होगी ओबीसी समाज की विशाल बैठक

सैनी आश्रम ज्वालापुर में होगी ओबीसी समाज की बैठक
 
हरिद्वार नगर निगम चुनाव को लेकर होगा मंथन
   
हरिद्वार 30 नवंबर  1 दिसंबर  रविवार को अपराह्न 1:30 बजे सैनी आश्रम ,निकट आर्य नगर चौक में ओबीसी समाज की एक बड़ी बैठक होने जा रही है जिसमें ओबीसी समाज  सरकार से हरिद्वार नगर निगम मेयर पद अपने लिए मांगेगा , उपरोक्त जानकारी इस कार्यक्रम के संयोजक और ओबीसी समाज के नेता डॉ प्रदीप कुमार ने प्रदान की उन्होंने ओबीसी समाज से इस बैठक में एक जुट होकर सरकार और प्रशासन तक अपनी आवाज पहुंचाने का आह्वान किया। उत्तराखंड में नगर निगम चुनाव को लेकर सरगर्मियां तेज हो गई है इस के चलते 1 दिसंबर रविवार को हरिद्वार का ओबीसी समाज सैनी आश्रम ज्वालापुर में विशाल बैठक का आयोजन कर रहा है जिसमें हरिद्वार से ओबीसी समाज से जुड़ी हुई विभिन्न बिरादरियों के प्रतिनिधि शामिल होंगे।

भाजपा जिला अध्यक्ष संदीप गोयल की अध्यक्षता में बैठक संपन्न

हरिद्वार 29 नवंबर जिला भाजपा कार्यालय हरिद्वार पर भाजपा जिला अध्यक्ष संदीप गोयल की अध्यक्षता में संगठनात्मक एवं स्थानीय निकाय चुनाव के विषय को लेकर बैठक संपन्न हुई।
जिला अध्यक्ष संदीप गोयल ने कहा कि आगामी समय में होने वाले चुनाव के दृष्टिगत सभी पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता कमर कस कर अपने-अपने क्षेत्र में जाकर बूथ प्रवास करते हुए प्रदेश एवं केंद्र सरकार की लोक कल्याणकारी योजनाओं को घर-घर तक पहुंचाने का काम करें।
आज प्रदेश में डबल इंजन की सरकार विकास कार्यों एवं गरीब उत्थान के लिए काम कर रही है।
प्रदेश की जनता ने जिस प्रकार केदारनाथ उपचुनाव में अपना आशीर्वाद देकर धामी सरकार के विकास कार्यों एवं प्रधानमंत्री मोदी के विजन पर मोहर लगाई है यह इस बात को साबित करता है कि डबल इंजन की सरकार अंतिम छोर पर बैठे हुए व्यक्ति तक पहुंचकर मुख्य धारा में जोड़ने का काम कर रही है।
इस दौरान उन्होंने कहा कि संगठनात्मक चुनाव के अंतर्गत चल रहे सक्रिय सदस्यता अभियान को भी कार्यकर्ता गंभीरता से लें क्योंकि आने वाले चुनाव में भी सक्रिय कार्यकर्ताओं को ही वरीयता दी जाएगी।
इस अवसर पर जिला महामंत्री आशु चौधरी, आशुतोष शर्मा, डॉ जयपाल सिंह चौहान, जिला उपाध्यक्ष लव शर्मा, मोहित वर्मा, नकली राम सैनी, महिला मोर्चा प्रदेश उपाध्यक्ष अनु कक्कड़, प्रदेश मंत्री रीता चमोली, जिला अध्यक्ष रंजना चतुर्वेदी, प्रदेश मंत्री युवा मोर्चा दीपांशु विद्यार्थी, ओबीसी मोर्चा जिला अध्यक्ष डॉ प्रदीप कुमार, युवा मोर्चा अध्यक्ष विक्रम भुल्लर, किसान मोर्चा अध्यक्ष मनीष कुमार, अनुसूचित मोर्चा अध्यक्ष देवेंद्र प्रधान, अल्पसंख्यक मोर्चा अध्यक्ष एजाज हसन, अभिनव चौहान, शीतल पुंडीर ,प्रीति गुप्ता, कमल प्रधान, पवनदीप, प्रिंस लाहौट, नसीम सलमानी, नवजोत वालिया आदि उपस्थित रहे।

मंगलोर विधानसभा के विकास में सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं करतार सिंह भडना:-गौरव भारद्वाज


मंगलौर की समस्याओं के समाधान में सक्रिय भागीदारी निभा रहे हैं करतार सिंह भडाना

दशकों से टूटी सड़क का हुआ पुनर्निर्माण:

मंगलौर 29 नवम्बर विगत विधानसभा चुनाव में मंगलौर विधानसभा के मतदाताओं का विश्वास जीतने वाले करतार सिंह भड़ाना मंगलोर विधानसभा के सर्वांगीण विकास में सक्रिय रूप से अपनी भागीदारी सुनिश्चित कर रहे है वर्तमान विधायक जहां अभी तक अपने स्वागत कराने में मशगूल हैं वहीं करतार सिंह भड़ाना मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के द्वारा मंगलोर विधानसभा मे वर्षों से चली आ रही जन समस्याओं के समधान में जुटे हुए हैं इसी परिपेक्ष में मुंडलाना गांव में पिछले हफ्ते करतार सिंह भड़ाना के निर्देश पर उनके प्रतिनिधि गौरव  भरद्वाज ने टूटी सड़क का निरीक्षण कर संबंधित अधिकारियों और ग्राम प्रधान से बातचीत कर एक हफ्ते के अंदर सड़क निर्माण का कार्य पूर्ण कराने का काम किया साथ ही उन्होंने ने कहा कि मंगलोर विधानसभा में दशकों से एक ही परिवार और पार्टी का विधायक रहा है  लेकिन उत्तराखंड  का द्वार  मंगलौर विकास में   पिछड़ा हुआ है इसका क्या कारण है यह जनता को समझना चाहिए। उत्तराखंड सरकार और यशस्वी मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी विकास कार्यों के लिए निरंतर प्रयास कर रही है।अतः हमें भी सरकार के साथ मिलकर विकास के कार्यों में  सहयोग करना चाहिए!!

19 से 21 दिसंबर तक होगी हरिद्वार में धर्म संसद!--स्वामी नरसिंहानंद


*इजरायल की तरह हिन्दुओ को भी बनाना चाहिए सनातन वैदिक राष्ट्र- महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी जी*

*सनातन वैदिक राष्ट्र के रूपरेखा बनाने के लिये 19,20 और 21 दिसम्बर को हरिद्वार में धर्म संसद*

हरिद्वार 28 नवंबर ( गोपाल रावत वरिष्ठ पत्रकार ) आनंद भैरव घाट श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े से शिवशक्ति धाम डासना के पीठाधीश्वर व श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी जी महाराज ने बांग्लादेश में चल रहे जघन्य हिन्दू नरसंहार पर तीव्र आक्रोश व्यक्त किया और भारत के हिन्दुओ से बांग्लादेश और पाकिस्तान के हिन्दुओ के हाल से शिक्षा लेने का आह्वान किया।
जूना अखाड़े के कोठारी श्रीमहंत महाकाल गिरी जी महाराज तथा अन्य  सन्तो के साथ एक वीडियो जारी करके महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी जी महाराज ने कहा कि बांग्लादेश में आर्मी और पुलिस के साथ मिलकर मुस्लिम जनसमुदाय हिन्दुओ का भीषण नरसंहार कर रहे हैं।इस्कोन के निरपराध चिन्मय दास प्रभु को जेल में डाल कर बांग्लादेश की सरकार ने सम्पूर्ण विश्व के हिन्दुओ को उनकी औकात बताई है।अगर ऐसा किसी देश ने किसी यहूदी के साथ किया होता तो इजरायल उस देश पर अब तक आक्रमण कर चुका होता और उस यहूदी को बचा कर ले गया होता।अगर हम हिन्दुओ के पास भी अपना कोई राष्ट्र होता तो पाकिस्तान और बांग्लादेश सहित किसी भी देश मे हिन्दुओ की दुर्गति ना हुई होती।हमने असीमित साधन और बलिदान आहूत करके श्रीराम जन्मभूमि पर मंदिर बनाया परंतु यह श्रीराम मंदिर मुस्लिम जिहादियों की भीड़ के द्वारा उसी दिन तोड़ दिया जाएगा जिस दिन भारत का प्रधानमंत्री कोई मुसलमान बनेगा।मुस्लिमो की भयानक रूप से बढ़ती हुई आबादी को देखते हुए यह अब ज्यादा दिन की बात नहीं है।अगर श्रीराम मंदिर के स्थान पर यह आंदोलन अगर सनातन वैदिक राष्ट्र के लिये किया जाता तो हमे लव जिहाद,गौ रक्षा,श्रीकृष्ण जन्मभूमि, काशी विश्वनाथ या सम्भल के हरिहर मंदिर की चिंता नहीं करनी पड़ती क्योकि ये तो सब हमे मिल ही जाता। लेकिन हमने छोटी बातों पर तो आंदोलन किये पर असली समस्या पर कभी आवाज ही नहीं उठाई और इस अभूतपूर्व दुर्गति को प्राप्त हुए।हमे समझना चाहिये कि अब हिन्दुओ की यह अंतिम शरणस्थली भारतवर्ष बहुत तेजी से शरिया कानून की ओर चल दिया है जहाँ ना तो कोई मंदिर बचेगा और ना कि कोई मंदिरों में पूजा करने वाला।इस विषय को ना तो कोई हिन्दू नेता उठा रहा है, ना ही कोई हिन्दू धर्मगुरु और ना ही कोई हिन्दू संगठन उठा रहा है।इस अति गम्भीर विषय को उठाने के लिये 19,20 और 21दिसम्बर को आनन्द भैरव मंदिर जूना अखाड़े में तीन दिवसीय धर्म संसद का आयोजन किया जा रहा है।जो भी हिन्दू अपने आने वाली पीढ़ियों को इस्लाम के जिहादियों का चारा नहीं बनने देना चाहते वो सभी धर्म संसद में भाग लेने की कृपा करें।
वीडियो में जूना अखाड़े के सन्यासियो के साथ ही डॉ उदिता त्यागी और यति अभयानंद जी भी उपस्थित थे।

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