बेचारा दुकानदार

*दुकानदार की दर्द भरी कहानी


दुकानदार होना भी कहाँ आसान है दोस्तों..*


ना किसी के ख्वाबो मे मिलेंगे, ना किसी के अरमान मे मिलेंगे,
तु हमेशा आ जाना प्रिये हम हमेशा दुकान मे मिलेंगे,


*गर्मी, सर्दी, बरसात यूँ ही गुजर जाती है,
नींद भी पूरी होती नही की रात गुजर जाती है,
होली, दिवाली, नवरात्री, 31st पर भी हम काम मे मिलेंगे,
तुम हमेशा आजाना प्रिये हम हमेशा दुकान मे मिलेंगे,


*जमाने भर की खुशियों से अलग है हम,
लोगो को लगता है गलत है हम, 
बीमार होकर भी ठीक रहती है तबियत हमारी, 
कोई आजकल पूछता भी नही खैरियत हमारी, 
कभी माल छोड़ने, तो कभी बैंक, या कभी ट्रैफ़िक के जाम मे मिलेंगे,
तुम हमेशा आ जाना प्रिये हम हमेशा दुकान मे मिलेंगे।।।
😀😀


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